
मसलिया प्रखंड के शैक्षणिक क्षेत्र अंतर्गत उत्क्रमित मध्य विद्यालय बेलगंजिया में गुरुवार को विद्यालय में पठन पाठन व ज्ञानार्जन के लिए पहुंचे विद्यार्थियों से काम काज कराते पाया गया। पौने नो बजे विद्यालय के सचिव महेश झा व एक सहायक अध्यापक सुभाष चंद्र मंडल टेबल पर बैठे मोबाइल चलाते नजर आए। वहीं बच्चों के हाथों में फावड़ा कुदाल व झाड़ू से साफ सफाई करते देखा गया। विद्यालय के बाहर स्कूल रूआर का बैनर लगाए सभी बच्चे काम करते व्यस्त दिखे। जब बच्चों से काम कराने की बात विद्यालय के सचिव से पूछा गया तो सभी बच्चों को वर्ग कक्ष में पैर हाथ धोकर बैठने की बात कहा। विद्यालय भवन का रंग रोगन भी नहीं कराया गया था। जबकि इसकी राशि मार्च महीने में ही आने की बात स्वयं विद्यालय के सचिव ने कबूला। दीवाल में नया मध्याह्न भोजन का मीनू के जगह पुराना ही अंकित था। जिसमें गुरुवार के दिन का मेनू में अल्पाहार में बिस्किट व चावल दाल एवं हरि सब्जी लिखा हुआ था। बच्चों से पूछने पर बताया कि अल्पाहार आज तक नहीं मिला है। भोजन बनाने वाले रसोईया ने बताया कि चावल दाल तो चढ़ाए हैं पर सब्जी क्या बनेगा यह तो सर ही बताएंगे।
विद्यालय के बाहर तीन बच्चियां बैठी मिली पूछने पर बताया कि वर्ग कक्ष में काफी शोरगुल होने के कारण बाहर बैठे हैं। हालांकि सहायक अध्यापक के कहने पर बाद में बच्चियां क्लास रूम में चली गई। इस विद्यालय में 74 नामांकित बच्चों में 59 बच्चे उपस्थित थे। संयोजिका भारती देवी विद्यालय न के बराबर ही पहुंचती है। उनके अनुपस्थिति में मध्याह्न भोजन की व्यवस्था विद्यालय के सचिव को ही करना पड़ता है। जबकि नियमतः शिक्षा विभाग की ओर से सख्त निर्देश जारी करते हुए कहा गया है कि बच्चों के हाथ में झाड़ू किसी भी सूरत में नहीं दिखनी चाहिए। विद्यालय की साफ सफाई का जिम्मा वहां के कार्यरत रसोईया को है। जो एक घन्टे पूर्व आकर विद्यालय परिसर की साफ सफाई करेंगी। वहीं विद्यालय के शिक्षकों को मध्याह्न भोजन में समय जाया न करते हुए केवल बच्चों को पढ़ाने में समय देना है। जब इस बारे में विद्यालय के सचिव महेश झा से पूछने पर बताया कि अल्पाहार के राशि नहीं भेजी जाती है। इसलिए आज तक हम लोग नहीं दिए हैं। वहीं इस संदर्भ में जब मसलिया प्रखंड प्रसार पदाधिकारी जियारूल स्लाम से पूछने पर बताया कि विद्यालय में बच्चों से काम लेना काफी दुःखद है। जांचोपरांत उचित कार्रवाई की जाएगी।