
संवाददाता अखिलेश विश्वकर्मा गढ़वा जिले के सगमा प्रखण्ड क्षेत्र में लगातार एक सप्ताह से हो रही बिना मौसम की बारिश से धान की फसल बर्बादी के कगार पर पहुंच गई है। खेतों में पानी भर जाने से धान की फसल सड़ने लगी है, जिससे किसानों में भारी बेचैनी और चिंता व्याप्त है। हर वर्ष छठ महापर्व के बाद इस क्षेत्र में धान की कटाई बड़े पैमाने पर शुरू होती है। लेकिन इस बार समय पर कटाई नहीं हो पाने और लगातार बारिश जारी रहने के कारण खेतों में खड़ा पक चुका धान पानी में डूबने लगा है। कई जगहों पर कटाई किए गए धान के बंडल भी खेतों में पड़े-पड़े गलने की स्थिति में हैं। क्षेत्र के प्रगतिशील किसान दीपक यादव, सुभाष प्रसाद यादव, बिहारी सिंह, सिद्धेश्वर नाथ चौबे और रामचंद्र शाह ने बताया कि इस वर्ष भदई फसल तो नहीं हो सकी थी, लेकिन धान की अच्छी पैदावार से किसान खुश थे। अब अचानक हुई लगातार बारिश ने उनकी उम्मीदों पर पानी फेर दिया है। किसानों का कहना है कि अगर एक-दो दिनों में मौसम में सुधार नहीं हुआ तो उनकी मेहनत पर पूरी तरह पानी फिर जाएगा।
किसानों ने बताया कि उन्होंने महंगे खाद, बीज और मेहनत के बल पर लहलहाती फसल तैयार की थी, लेकिन अब वही फसल आंखों के सामने बर्बाद होती दिखाई दे रही है। यदि बारिश इसी तरह जारी रही तो क्षेत्र के किसानों को भारी आर्थिक संकट झेलना पड़ेगा और उनकी सालभर की मेहनत व्यर्थ हो जाएगी।



