मुख्यमंत्री जी मैहर के नेता और अधिकारी सरकार की किरकिरी करवाकर मानेंगे
मैहर में जिला प्रशासन और स्थानीय नेताओं के खिलाफ पत्रकारों ने गंभीर आरोप लगाते हुए मोर्चा खोल दिया है। पत्रकारों का आरोप है कि प्रशासनिक अधिकारियों और नेताओं की मिलीभगत से क्षेत्र में भ्रष्टाचार और अनियमितताएं चरम पर हैं, जिससे जनता का विश्वास प्रशासनिक तंत्र पर से उठता जा रहा है।पत्रकारों का कहना है कि प्रशासनिक अधिकारी और नेता जनता के मुद्दों की अनदेखी कर रहे हैं और आम जनों की समस्याओं को नजरअंदाज करते हुए निजी स्वार्थों को प्राथमिकता दे रहे हैं। आरोप यह भी है कि नेता के ईशारों पर प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा पत्रकारों को धमकाया जा रहा है, यहां तक वसूलीवाज जैसे शब्दो का प्रयोग किया जाता है, ताकि वे सच्चाई को सामने न ला सकें और जनता के बीच असंतोष न फैले।मैहर के प्रमुख पत्रकारों ने प्रशासन के इस रवैये के खिलाफ एकजुट होकर जिला प्रशासन से खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। उनका कहना है सरकार का कोई नुमाइंदा हमारी मांग सुन न्याय करे, इस बीच मौके में माजूद प्रभारी मंत्री राधा सिंह और वन मंत्री सहित क्षेत्रीय विधायक ने दूरी बनाई है!पत्रकारों ने स्थानीय प्रशासन से पारदर्शिता और निष्पक्षता बरतने कि मांग की है ताकि लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा की जा सके।इस पूरे घटनाक्रम से जिला प्रशासन पर सवालिया निशान खड़ा हो गया है और क्षेत्र में तनाव की स्थिति उत्पन्न हो गई है। अब देखना यह है कि प्रशासन इन आरोपों पर क्या प्रतिक्रिया देता है और स्थिति को कैसे संभालता है।इस मामले को लेकर जनता भी काफी आक्रोशित है और वे भी प्रशासन की जवाबदेही की मांग कर रही है। सूत्रों से मिली जानकारी नेता की कार्यप्रणाली की वजह से जिला प्रशासन हो रहा बदनाम वही इस मौके पर लोग कयास लगा रहे है षड्यंत्र पूर्वक प्रशासन का सहारा लेकर पत्रकारों के आंदोलन को दबाने के लिए हो सकता है बड़ा षड्यंत्र,मामले में अगर सतना सांसद और संभागीय आयुक्त और पुलिस महानिरीक्षक ने हस्ताक्षेप न किया तो सच को कुचलने में कामयाब हो जायेगा मैहर प्रशासन