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प्रमंडल स्तरीय महोत्सव का शुभारंभ करने पहुंचे राज्य मंत्री

गोड्डा कॉलेज मैदान पर कार्यक्रम आयोजित

प्रमंडल स्तरीय पीएमएफएमई महोत्सव 2025 का शुभारंभ

फोटो – कार्यक्रम को संबोधित करते मंत्री संजय प्रसाद यादव

– आर्थिक समावेशन में पीएमएफएमई की भूमिका महत्वपूर्ण- उद्योग मंत्री

– सूक्ष्म उद्योगों को बढ़ावा देने में महोत्सव की भूमिका अहम- उपायुक्त

झारखंड/गोड्डा : स्थानीय गोड्डा कॉलेज मैदान में उद्योग विभाग द्वारा प्रमंडल स्तरीय पीएमएफएमई महोत्सव का शुभारंभ किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत माननीय मंत्री उद्योग सह श्रम, नियोजन, प्रशिक्षण एवं कौशल विकास विभाग, झारखंड सरकार, संजय प्रसाद यादव, जिला दंडाधिकारी सह उपायुक्त जिशान कमर, डिविजनल फॉरेस्ट ऑफिसर पवन कुमार बाघ, उप विकास आयुक्त स्मिता टोप्पो, पूर्व जिला परिषद अध्यक्ष कल्पना देवी, महाप्रबंधक जिला उद्योग केंद्र रमाकांत चतुर्वेदी, ईओडीबी प्रबंधक मनीष कुमार, वरीय प्रबंधक झारक्राफ्ट, अब्दुल कादिर सहित अन्य गणमान्य के द्वारा दीप प्रज्वलित कर की गई। इस अवसर पर उद्योग मंत्री के द्वारा कार्यक्रम को संबोधित करते हुए बताया गया कि पीएमएफएमई योजना सूक्ष्म खाद्य उद्योगो को बढावा देने के लिए एक महत्वपूर्ण योजना है जिसका क्रियान्वयन झारखण्ड सरकार द्वारा वर्ष 2021 से झारखण्ड के हर जिले में किया जा रहा है।
इस योजना के लिए माध्यम से लघु एवं सूक्ष्म खाद्य प्रसंस्करण संबंधित उद्यमों को सशक्त बनाया जा रहा है जो हमारी अटूट प्रतिबद्धता का प्रमाण है। झारखण्ड एक कृषि आधारित राज्य है जिसमें विविध प्रकार के फसलों के साथ-साथ वनोपज पाए जाते है। यह प्रदेश अपने समृद्ध परंपरागत कृषि परिदृश्य के कारण खाद्य प्रसंस्करण के क्षेत्र में उद्यम स्थापना की अपार संभावनाएं रखता है, विशेष रूप से मिलेट्स, रागी, मक्का, चावल, गेंहू, आलू, आम और मशरूम इत्यादि का प्रोसेसिंग की छोटी इकाई स्थापित कर ग्रामीण बेरोजगारी को दूर करने में अहम भूमिका निभाया जा सकता है। राज्य सरकार के प्रयास से पीएमएफएमई योजना ने इस क्षेत्र के विस्तार में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है, जिससे वित्तीय सहायता और बाजार संबंधों के माध्यम से छोटे उद्यमियों को अपने व्यवसाय को बढ़ाने में मदद मिली है। समेकित रूप से अबतक लगभग 3200 उद्यमियों को इस योजना के माध्यम से वित्तीय लाभ दिया गया है। इसके साथ-साथ उनको बाजार से जोड़ने, बेहतर पैकेजिंग एवं ब्रांडिंग करने में सहायता प्रदान किया जा रहा है। यह पहल केवल आर्थिक विकास तक सीमित नहीं है, बल्कि यह समुदाय को सशक्त बनाने, आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने और सतत आजीविका सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। पीएमएफएमई योजना आर्थिक समावेशन को बढ़ावा देने में एक परिवर्तनकारी पहल साबित हुई है, जिससे यह सुनिश्चित किया जा रहा है कि यह अवसर उन जरूरत मंद लोगों तक पहुंचे जिन्हें इसकी सबसे अधिक आवश्यकता है।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए जिला दंडाधिकारी सह उपायुक्त ने बताया कि सूक्ष्म उद्यमों को एक्सपोजर एवं सतत बढावा देने के लिए प्रमण्डल स्तरीय इस महोत्सव का आयोजन किया जा रहा है जिसमें मिलेट्स (रागी), मशरूम, अनाज प्रसंस्करण, डेयरी प्रसंस्करण, खाद्य प्रसंस्करण एवं सीड कैपिटल से संबंधित स्टॉल लगाया गया है। खाद्य प्रसंस्करण मशीनरी उपकरणों का प्रदर्शन उद्यमियों के सुविधा हेतु किया गया है। उक्त योजना का मुख्य उद्देश्य नई तकनीक का प्रयोग- उन्नत खाद्य प्रसंस्करण मशीनरी का प्रदर्शन-सह-लाइव डेमो, वित्तीय सहायता, ऋण स्वीकृति प्रदान करना एवं प्रतिस्पर्धा की भावना उत्पन्न करना है जिससे कि नए नए उत्पादों से संबंधित ईकाइयां स्थापित होने मे सहयोग प्राप्त हो सके। कार्यक्रम के दौरान स्टॉल का निरीक्षण किया गया एवं उत्कृष्ट कार्य करने वाले कर्मियों एवं पदाधिकारियों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया। मौके पर सांसद प्रतिनिधि, एलडीएम गोड्डा सहित विभिन्न बैंकों के प्रतिनिधिगण, जिला स्तरीय पदाधिकारीगण, उद्योग विभाग के कर्मीगण मौजूद थे।

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