उत्तर प्रदेशबस्ती

बस्ती का हेल्थ सिस्टम बीमार, फर्जी संस्थानों पर कार्रवाई नहीं – जांच के नाम पर दिखावा

अजीत मिश्रा (खोजी)

।।‌बस्ती जिले में फर्जी पैथोलॉजी और हॉस्पिटल का जाल, सीएमओ कार्यालय की चुप्पी से उठे सवाल।।

⭐सीएमओ ऑफिस से मांगी गई सूची, नहीं मिला जवाब – संरक्षण का बड़ा आरोप।

⭐बस्ती का हेल्थ सिस्टम बीमार, फर्जी संस्थानों पर कार्रवाई नहीं – जांच के नाम पर दिखावा।

बस्ती ।।‌ जिले में स्वास्थ्य व्यवस्था का मज़ाक उड़ता नजर आ रहा है। पूरे जिले में फर्जी पैथोलॉजी लैब, बिना रजिस्ट्रेशन के मेडिकल स्टोर, गैरकानूनी अल्ट्रासाउंड सेंटर और अवैध रूप से संचालित हॉस्पिटल धड़ल्ले से चल रहे हैं। सबसे बड़ा सवाल यह है कि ये सब मुख्य चिकित्सा अधिकारी (CMO) की जानकारी के बिना कैसे मुमकिन है?कई जगहों पर बिना किसी रजिस्ट्रेशन के पैथोलॉजी लैब्स खून-जांच और रिपोर्टिंग कर रहे हैं, जिनमें प्रशिक्षित टेक्नीशियन तक नहीं हैं।गांव और कस्बों में मेडिकल स्टोर बिना लाइसेंस के दवाइयां बेच रहे हैं।अल्ट्रासाउंड सेंटर बिना सोनोलॉजिस्ट के चलाए जा रहे हैं, जो PCPNDT एक्ट का खुला उल्लंघन है।निजी हॉस्पिटल बिना फायर एनओसी, बिल्डिंग परमिशन और NOC के चल रहे हैं, लेकिन सीएमओ कार्यालय से कोई कार्यवाही नहीं हो रही।जब CMO कार्यालय से रजिस्टर्ड पैथोलॉजी और अल्ट्रासाउंड सेंटर की सूची मांगी गई, तो कोई भी स्पष्ट जानकारी नहीं दी गई। इससे साफ संकेत मिलते हैं कि या तो स्वास्थ्य विभाग जानबूझकर आंकड़े छुपा रहा है या फिर इन अवैध संस्थानों को संरक्षण दे रहा है।स्थानीय नागरिकों का आरोप है कि सीएमओ कार्यालय की मिलीभगत के बिना इतने बड़े स्तर पर फर्जी मेडिकल व्यवसाय नहीं चल सकता।

सूत्रों के अनुसार, हर महीने लाखों का अवैध लेनदेन इन फर्जी संस्थानों और कुछ अधिकारियों के बीच होता है, जिससे कार्यवाही ठंडी पड़ी रहती है।जनता अब सवाल कर रही है कब होगी इन फर्जी संस्थानों पर कार्यवाही? क्यों नहीं सार्वजनिक की जा रही रजिस्टर्ड संस्थानों की सूची?क्या बस्ती के स्वास्थ्य अधिकारी खुद फर्जीवाड़े में शामिल हैं?

अब देखना है कि जिला प्रशासन और शासन स्तर पर कौन करेगा कार्रवाई?

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