
01 जुलाई से 30 सितंबर तक चलने वाले राष्ट्र के लिये मध्यस्थता अभियान में वादों की निष्पादन की गतिशीलता को जारी रखने के उद्देश्य से आज शनिवार को व्यवहार न्यायालय गया में एक महत्वपूर्ण बैठक का आयोजन किया गया। प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकार मदन किशोर कौशिक की अध्यक्षता में प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह अध्यक्ष मदन किशोर कौशिक , जिला एवं अपर सत्र न्यायाधीश प्रथम शशिकांत ओझा , जिला एवं अपर सत्र न्यायाधीश द्वितीय नलिन कुमार पाण्डेय ,सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकार अरविंद कुमार दास ने संयुक्त रूप में की। बैठक में सभी एसीजेएम, एसडीजेएम, प्रथम श्रेणी न्यायिक पदाधिकारीगण उपस्थित रहे। बैठक में बताया गया कि 01 जुलाई से 30 सितंबर तक चलने वाले राष्ट्रीय मध्यस्थता अभियान में अधिक से अधिक सुलहनीय वादों का मध्यस्थता के माध्यम से निष्पादन करने के लिये सभी न्यायिक पदाधिकारीगण को निर्देशित किया गया कि वैवाहिक विवाद, दुर्घटना दावा, घरेलू हिंसा, वाणिज्यिक विवाद, चेक बाउंस, सेवा संबंधी मामले, आपराधिक संज्ञेय वाद, उपभोक्ता विवाद, ऋण वसूली, संपत्ति विभाजन, निष्कासन, भूमिअधिग्रहण आदि जैसे वादें को मध्यस्थता केंद्र के माध्यम से निस्तारण हेतु पूर्ण सहयोग की आवश्यकता जताई गई । इस अभियान के अंतर्गत आए अभिलेख में यथाशीघ्र आपसी सहमति से निष्पादन प्रशिक्षित न्यायिक पदाधिकारी एवं प्रशिक्षित मध्यस्थ द्वारा किया जा रहा है।
प्रधान जिला जज ने मध्यस्थता कैम्पेन के लिये चिन्हित किये गए वादों को सभी पक्षकारों को नोटिस तामिला करवाने पर बल दिया। जिससे अधिक से अधिक वादों निष्पादन की प्रकिया गतिशील रहें।
त्रिलोकी नाथ डिस्ट्रिक्ट डिवीज़न हेड गया
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