
भारतीय जनता पार्टी किसान मोर्चा गया के द्वाराडॉ. भीमराव रामजी अंबेडकर, जीका 134वां जयंती समारोह गया विधानसभा के रविदास टोला में दक्षिणी मंडल के उपाध्यक्ष सुनील कुमार रविदास की अध्यक्षता में आहूत की गई जयंती समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में भाजपा किसान मोर्चा के बागवानी प्रकोष्ठ के सह संयोजक डॉ मनीष पंकज मिश्रा उपस्थित होकर बाबा साहेब के चरणों में माला पुष्प चढ़ा कर श्रद्धा सुमन अर्पित किए इस अबसर पर डॉ मनीष पंकज मिश्रा ने श्रद्धा सुमन अर्पित करते हुए कहा डॉ भीमराव अंबेडकर जी जिन्हें बाबासाहेब अंबेडकर के नाम से जाना जाता है, भारत के एक महान विधिवेता, अर्थशास्त्री, राजनीतिज्ञ और समाज सुधारक थे। उनका जन्म 14 अप्रैल 1891 को मध्य प्रदेश के महू में एक दलित परिवार में हुआ था। समाज में व्याप्त छुआछूत, भेदभाव और जातिगत अत्याचारों का उन्होंने स्वयं अनुभव किया, जिसने उनके जीवन की दिशा तय कर दी।डॉ. अंबेडकर ने प्रारंभिक शिक्षा संघर्षों के बीच पूरी की, लेकिन उनके ज्ञान और प्रतिभा के कारण उन्हें उच्च शिक्षा के अवसर मिले। उन्होंने मुंबई विश्वविद्यालय से स्नातक की डिग्री प्राप्त की, फिर कोलंबिया विश्वविद्यालय (अमेरिका) और लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स से उच्च शिक्षा प्राप्त की। वे पहले भारतीय थे जिन्होंने अर्थशास्त्र में डॉक्टरेट की उपाधि प्राप्त की।डॉ. अंबेडकर का जीवन सामाजिक न्याय और समानता के लिए समर्पित था। उन्होंने दलितों, पिछड़ों और महिलाओं के अधिकारों के लिए निरंतर संघर्ष किया। वे मानते थे कि जब तक समाज में बराबरी नहीं होगी, तब तक भारत का सच्चा विकास संभव नहीं है। उन्होंने ‘बहिष्कृत हितकारिणी सभा’, ‘समता समाज’, ‘मूकनायक’ और ‘जनता’ जैसे संगठनों और पत्रिकाओं के माध्यम से समाजमेंजागरूकतालाई भारत की स्वतंत्रता के बाद जब संविधान निर्माण का कार्य आरंभ हुआ, तब डॉ. अंबेडकर को संविधान मसौदा समिति का अध्यक्ष नियुक्त किया गया। उन्होंने भारत का संविधान लिखा, जो विश्व का सबसे बड़ा और विस्तृत लोकतांत्रिक संविधान माना जाता है। उन्होंने संविधान में सभी नागरिकों को समान अधिकार, स्वतंत्रता और सामाजिक न्याय की गारंटी दी। यही कारण है कि उन्हें “भारतीय संविधान का शिल्पकार” कहा जाता है। इस अवसर पर पूर्व जिला उपाध्यक्ष राजेंद्र प्रसाद अधिवक्ता ने कहाडॉ.अंबेडकर ने जीवनभर छुआछूत, जातिवाद और धार्मिक कुरीतियों के खिलाफ आवाज उठाई। उन्होंने बौद्ध धर्म को अपनाकर समाज को संदेश दिया कि हर व्यक्ति को अपने आत्म-सम्मान और अधिकारों के लिए खड़ा होना चाहिए। उन्होंने ‘शिक्षित बनो, संगठित रहो और संघर्ष करो’ का नारा दिया, जो आज भी प्रेरणास्रोत है।उनकी महान सेवाओं के लिए उन्हें मरणोपरांत 1990 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया। उनके चरणों में पुष्पमाला चढ़ाकर उनके विचारों को याद किया और समाज के प्रति उनके योगदान को सराहा।डॉ. अंबेडकर का जीवन संदेश देता है कि सामाजिक बदलाव शिक्षा, संघर्ष और दृढ़ संकल्प से ही संभव है। उनका विचार आज भी समाज में समानता, मानवाधिकार और सामाजिक न्याय के लिए मार्गदर्शक है। इस अवसर पर सुनील रविदास जयंती समारोह में सभी आए हुए अतिथियों को स्वागत अभिनंदन और वंदन किया आज के कार्यक्रम में पूर्वी जिला उपाध्यक्ष राजेंद्र प्रसाद अधिवक्ता गया जिला भाजपा कोषाध्यक्ष दीपक पांडे भाजपा के वरिष्ठ नेता राणा रणजीत सिंह गोपाल प्रसाद यादव संतोष ठाकुर सुनील बंबईया महेश यादव बबलू गुप्ता साहित्य अन्य रविदास टोला के शामिल लोगो एवं बच्चों को जलेबी खिलाकर खुशी का इजहार किया गया
त्रिलोकी नाथ डिस्ट्रिक्ट डिवीज़न हेड गया
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