A2Z सभी खबर सभी जिले कीमध्यप्रदेश

कलेक्टर के आदेश को ठेंगा दिखा रहा ककरहटी प्राथमिक सहकारी समिति का प्रबंधक रामदास साहू

शासन के साथ फर्जी षणयंत्र कूटरचना कर चला रहा गेहूं चना का उपार्जन कार्य

क्या साहू पर आपराधिक प्रकरण दर्ज कराएगा जिला प्रशासन/सहकारिता बिभाग?

(जावेद खान ब्यूरो पन्ना):- ककरहटी प्राथमिक सहकारी समिति में फर्जीवाड़ा चरम पर है। खाद्य विभाग की जांच में समिति प्रबंधक रामदास, आपरेटर चन्दन चर्मकार, सहित श्री मिश्रा को पंजीयन कार्य में दोषी मानते हुए प्रतिवेदन कलेक्टर महोदय को दिया गया। जिस पर कलेक्टर पन्ना सुरेश कुमार द्वारा पंजीयन एवं उपार्जन कार्य से इन सभी को आदेश क्रमांक/635/खाद्य/उपार्जन/2024 पन्ना दिनांक 2/4/2024 मे पृथक कर दिया गया था लेकिन यहां पदस्थ रहें समिति प्रबंधक रामदास साहू (वर्तमान निलंबित) द्वारा कलेक्टर पन्ना/शासन को गुमराह कर अपने निजी लोगों को लाभ पहुंचाने के उद्देश्य से चन्दन को ही आपरेटर रखा गया। और रिकार्ड में भाई धीरज के दस्तावेज लगा दिए गये इसी प्रकार दूसरे आपरेटर को प्रबंधक द्वारा अपने पुत्र के रिश्ते के साले मनोज साहू को दस्तावेज में आपरेटर बनाया गया और भौतिक कार्य चन्दन चौधरी से ही करवाया गया है। जबकि मनोज का गृह ग्राम उपार्जन गोदाम से करीब 60 किलोमीटर दूर है। इसी तरह प्रबंधक रामदास को भी पृथक् कर दिया गया था लेकिन इनके द्वारा संस्था के किसी चपरासी/चौकीदार को रिकार्ड में केंद्र प्रभारी बनाकर स्वत: अपने पुत्र विजय साहू को काम दे दिया गया है। यह सब फर्जीवाड़ा कैसे संभव हो पा रहा है। कहते हैं वर्तमान में सहकारिता बिभाग से जुड़े अधिकारी सहायक आयुक्त सहकारिता ड़ा अरूण मसराम एवं जिला सहकारी बैंक के महाप्रबंधक एस.के कनौजिया बेहद ईमानदार और कर्तव्यनिष्ठ अधिकारी हैं। इसके बावजूद भी प्रबंधक रामदास साहू द्वारा जिले के मुखिया के आदेश को ठेंगा दिखा कर वही किया जो फर्जीवाड़ा वह करता आ रहा है। रामदास पर करीब 41 लाख रूपए अनाज शार्टेज व खाद की देन दारी है। बार बार नोटिस के बाद पैसा जमा ना करने के आरोप में उनको निलंबित किया जा चुका है। हालांकि अभी प्रभार उनके द्वारा नहीं सौंपा गया है। रामदास लगातार संस्था में फर्जीवाड़ा करता आ रहा है व अपने रिश्तेदारों को लाभ पहुंचाने के लिए संस्था को बर्बाद करने में तुला हुआ है। इनके द्वारा जिस तरह से कलेक्टर/शासन के आदेश के पृथक करने के बाद भी वही लोगों के काम कराया जा रहा है व प्रशासन की आंखों में धूल झोंकी जा रही है।

अब देखना होगा की इस षणयंत्रकारी फर्जीबाड़े को लेकर रामदास पर आपराधिक मुकदमा प्रशासन कब तक दर्ज करा पाता है।

Back to top button
error: Content is protected !!