
अजीत मिश्रा (खोजी)
।। शासन के भ्रष्टाचार मुक्त प्रदेश को संतकबीरनगर के अधिकारी लगा रहे है पलीता।।
💫शासन के मंशा पर जिला उपायुक्त (मनरेगा) संतकबीरनगर फेर रहे है पानी।
💫जिलाधिकारी संतकबीरनगर का आदेश नही रखता जिला उपायुक्त मनरेगा के लिए कोई मायने।
संत कबीरनगर यूपी ।। जिलाधिकारी संतकबीरनगर के वहा शपथपत्र के साथ शिकायत पत्र देने के बावजजूद जिलाधिकारी महोदय के सामने नही प्रस्तुत किया गया जांच रिपोर्ट। इतना ही नही जिलाधिकारी संतकबीरनगर को दोबारा रिमाइंडर देने के बावजूद उस पर जिलाधिकारी के आदेश करने के बाद भी जिला उपायुक्त मनरेगा ने नही प्रस्तुत किया उनके सामने कोई जांच रिपोर्ट। मजे की बात है कि जिला उपायुक्त मनरेगा द्वारा शिकायतकर्ता के शिकायत पत्र को न तो आनलाइन रजिस्टर्ड करवाया गया और न ही शिकायतकर्ता को किसी प्रकार से किया गया सूचित जबकि टेलीफोन पर कोई पूरानी रिपोर्ट कृष्णा नाम के व्यक्ति को देने की बताते है बात।
शिकायतकर्ता के अनुसार उसके जानकारी मे उसके द्वारा शपथपत्र के साथ दिये गये शिकायत पत्र की न तो हुआ है कोई जांच और न ही शिकायतकर्ता को दिया गया है कोई सूचना। सोचिए यदि शपथपत्र के साथ दिये गये शिकायत पत्र पर नही हो रहा कोई जांच तो आई जी आर एस पर डाले गए शिकायत पत्र का कैसा होता होगा जांच?
नियमत: शपथपत्र के साथ दिये गये शिकायत पत्र मे यदि शिकायतकर्ता द्वारा किया गया है गलत शिकायत तो शिकायतकर्ता के विरुद्ध होना चाहिए वैधानिक कार्यवाही। संतकबीरनगर के सांथा ब्लाक का है पूरा मामला।