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मुंबई का बंदर, लंबा बाल, रेडी टू ईट होश उड़ा देने वाली साजिश

पुलिस का उड़ा होश मुंबई का बंदर, लंबा बाल, रेडी टू ईट का जब पर्दाफाश हुआ।

विजय कुमार भारद्वाज/मुंबई
मुंबई का बंदर, लंबा बाल, रेडी टू ईट होश उड़ा देने वाली साजिश का पर्दाफाश हुआ।
मुंबई:महाराष्ट्र . पुणे पुलिस ने ड्रग स्मैगलरों के खिलाफ अभियान चला रखा है, इसमें बड़ी सफलता हाथ लगी है। पुलिस ने ड्रग तस्करों के बड़े रैकेट का पर्दाफाश किया है। हजारों करोड़ के मादक पदार्थ जब्त किए गए है,महाराष्ट्र के अलावा दिल्ली और दक्षिण भारत के कुछ इलाकों में भी छापे मारे गए। मुंबई, पुणे, दिल्ली से ड्रग तस्करों के पुणे मॉड्यूल के दो सदस्यों के पकड़े जाने से दिल्ली में भी इस मॉड्यूल के जरिए ड्रग तस्करी किए जाने का बड़ा मामला सामने आया है। यहां ड्रग की अत्यधिक खपत की वजह से दिल्ली पिछले कई वर्षों से ड्रग तस्करों को ट्रांजिट प्वाइंट बनी हुई है। पुणे मॉड्यूल ने जनवरी में ही दक्षिण दिल्ली के दो सघन आबादी वाले इलाके कोटला मुबारकपुर गांव व मस्जिद मोठ में दो दुकानें किराए पर लेकर उन्हें चोरी छिपे गोदामों में तब्दील कर दिया था। पुणे पुलिस अभी तक इस मामले में 3000करोड़ रूपये से ज्यादा के मादक पदार्थ जब्त कर चुकी है. अब इस मामले में एक बड़ा खुलासा हुआ है। ड्रग तस्करों के सीक्रेट कोड वर्ड का पता चला है, जिसको डिकोड करने का दावा किया गया है। पुणे ड्रग कार्टेल केस में पुणे पुलिस ने ड्रग तस्करों के कई सीक्रेट कोड को डिकोड करने का दावा किया है। नशीले पदार्थों की तस्करी के दौरान इससे जुड़े लोगों को फर्जी नाम के साथ सीक्रेट कोड दिए गए थे। सीक्रेट कोड के जरिए ही तस्करों की आपस में बात होती थी। ताकि सुरक्षा एजेंसियों को इसके बारे में पता न चल सके. सुरक्षा एजेंसियों और निगरानी से बचने के लिए स्मैगलर आपस में कोड वर्ड के साथ बात करते थे। हालांकि सुरक्षाकर्मियों ने तस्करों के इस जाल की तोड़ कर स्मैगलरों को बेनकाब कर दिया है। पुलिस ने ड्रग स्मैगलरों की साजिश को नाकाम कर दिया है। सीक्रेट कोड का खुलासा कर कई बातों का खुलासा करने का दावा किया है। ड्रग के इस काले कारोबार में मुंबई का बंदर, लंबा बाल और रेडी टू ईट जैसे सीक्रेट कोड का इस्तेमाल किया जा रहा था। लंबा बाल का फर्जी नाम आरोपी वैभव माने का था, क्योंकि उसके बाल काफी लंबे है। मुंबई का बंदर इस केस में आरोपी और केमिकल एक्सपर्ट में पीएचडी धारक युवराज भुजबल को दिया गया था। पुलिस को शक न हो इसके लिए एमडी ड्रग की तस्करी के लिए रेडी टू ईट कोड वर्ड का इस्तेमाल किया जाता था, यानी खाद्य पदार्थ के पॉकेट में तस्करी की जा रही है। जांच में यह भी सामने आया है कि जेल में रहने के दौरान ही मास्टरमाइंड संदीप धुनिया की मुलाकात आरोपी वैभव माने और हैदर शेख से हुई थी. इस पहचान के बाद से ही ड्रग का बिजनेस पुणे में शुरू किया गया था। पुणे पुलिस ने अभी तक तकरीबन 3000 करोड़ रूपये की ड्रग जब्त की है। आने वाले समय में यह आंकड़ा बढ़ सकता है। क्योंकि पुलिस की कार्रवाई अभी जारी है. पुलिस ने बताया कि 3000 करोड़ रूपये की ड्रग जब्ती में अभी तक 3 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है, जबकि 5 अन्य संदिग्धों को हिरासत में लिया गया है. पुलिस पुणे के साथ ही दिल्ली एनसीआर में भी छापेमारी कर रही है। बताया जा रहा है कि इस मामले में अभी कुछ और भी बड़े खुलासे हो सकते है। पुणे पुलिस की कार्रवाई के बाद अन्य सुरक्षा एजेंसियां भी अलर्ट हो गई है।

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