
🟥 बड़ी खबर: प्रयागराज में पुलिस का आतंक – चौकी इंचार्ज और एसओ ने अधिवक्ता को बेरहमी से पीटा, रिश्वत न देने पर हमला, हालत नाजुक
✍️ रिपोर्ट: एलिक सिंह
📍 स्थान: प्रयागराज, उत्तर प्रदेश
📞 संपर्क: 8217554083
📰 वंदे भारत लाइव टीवी न्यूज़ | जिला प्रभारी – भारतीय पत्रकार अधिकार परिषद
🔴 न्याय के रक्षक पर ही हमला – क्या अब वकील भी सुरक्षित नहीं?
उत्तर प्रदेश के प्रयागराज जिले के नैनी क्षेत्र से एक ऐसी खबर सामने आई है, जिसने आम जनता के साथ-साथ कानून के रखवालों को भी झकझोर कर रख दिया है। औद्योगिक क्षेत्र की एक पुलिस चौकी में तैनात चौकी इंचार्ज और एसओ पर गंभीर आरोप लगे हैं कि उन्होंने एक अधिवक्ता से ₹1 लाख की रिश्वत की मांग की। जब अधिवक्ता ने इस अवैध मांग को ठुकरा दिया, तो पुलिसकर्मियों ने उसे हिरासत में लेकर बेरहमी से पीटा।
🏥 अस्पताल में जिंदगी और मौत की जंग लड़ रहा है अधिवक्ता
पीड़ित अधिवक्ता नैनी स्थित एडीए कॉलोनी का निवासी बताया जा रहा है। बुरी तरह पीटे जाने के बाद उसे स्थानीय अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उसकी हालत गंभीर बनी हुई है। डॉक्टरों के अनुसार, अधिवक्ता के सिर, पीठ और शरीर के अन्य हिस्सों में गंभीर चोटें आई हैं। परिवार और अधिवक्ता साथियों ने इसे “हत्या की कोशिश” करार दिया है।
👨⚖️ अधिवक्ता संघ का विरोध प्रदर्शन, न्याय की मांग
जैसे ही घटना की जानकारी प्रयागराज अधिवक्ता संघ को मिली, वकीलों में उबाल आ गया। बार एसोसिएशन ने तत्काल बैठक बुलाकर विरोध दर्ज किया और प्रशासन को चेतावनी दी कि अगर दोषियों के खिलाफ तत्काल कार्रवाई नहीं हुई, तो समूचे प्रदेश में अधिवक्ताओं का उग्र आंदोलन छेड़ा जाएगा।
अधिवक्ता संघ ने रखी ये चार प्रमुख मांगें:
आरोपी चौकी इंचार्ज और थाना प्रभारी को तत्काल सस्पेंड किया जाए।
संबंधित पुलिसकर्मियों के खिलाफ IPC की धाराओं में FIR दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार किया जाए।
पीड़ित अधिवक्ता को ₹25 लाख का मुआवजा और मुफ्त चिकित्सा सुविधा दी जाए।
मामले की निष्पक्ष न्यायिक जांच की जाए, ताकि सच्चाई सामने आ सके।
🔍 रिश्वत मांगने के वीडियो और ऑडियो सबूतों की जांच की मांग
सूत्रों के अनुसार, अधिवक्ता ने इस पूरे घटनाक्रम की ऑडियो रिकॉर्डिंग की थी, जिसमें चौकी इंचार्ज द्वारा ₹1 लाख मांगने की बात सामने आई है। यह ऑडियो क्लिप सोशल मीडिया पर वायरल हो चुकी है। वहीं CCTV फुटेज को भी जांच में शामिल किए जाने की मांग की जा रही है।
⚖️ कानून व्यवस्था पर सवाल, सरकार की चुप्पी खतरनाक
इस घटना ने प्रदेश की कानून व्यवस्था और पुलिस के व्यवहार पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। जिस राज्य में अधिवक्ता तक सुरक्षित नहीं हैं, वहां आम नागरिकों की स्थिति का अंदाजा लगाया जा सकता है।
प्रदेश सरकार और पुलिस प्रशासन इस मामले में अभी तक चुप्पी साधे हुए हैं, जिससे अधिवक्ता समुदाय और आम जनता में रोष लगातार बढ़ रहा है।
📲 सोशल मीडिया पर गूंजा ‘#JusticeForAdvocate’
घटना की खबर फैलते ही ट्विटर, फेसबुक और इंस्टाग्राम जैसे प्लेटफॉर्म्स पर “#JusticeForAdvocate” ट्रेंड करने लगा। प्रदेश भर के अधिवक्ता, समाजसेवी, पत्रकार और आम जनता इस घटना की निंदा करते हुए न्याय की मांग कर रहे हैं।
📽️ वंदे भारत लाइव की विशेष टीम इस पूरे मामले की जमीनी पड़ताल में लगी हुई है। जल्द ही हमारे डिजिटल चैनलों पर पीड़ित के परिवार, अधिवक्ताओं और चश्मदीदों की गवाही के साथ स्पेशल रिपोर्ट जारी की जाएगी।
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