*निगम प्रशासन और विद्युत विभाग की अनदेखी व लापरवाही कर सकती है ज़िंदगी को करेंगी खामोश !*
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*समाचार संपादक : अंकित शर्मा*
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*सतना :-* सतना शहर के पीएम आवास उतैली की स्मार्ट सिटी बिल्डिंगो में मौत नाचती देखी जा है, ये ऐसा तब होता है ज़ब किसी की मृत्यु नजदीक होती है, ऐसा इस लिए नगर पालिक निगम सतना अंतर्गत बने स्मार्ट सिटी पीएम आवास के प्रत्येक बिल्डिंगो में हितग्राहीयों को कनेक्शन के नाम पर कमीशन खोरी के चक्कर में दलालो द्वारा अलग अलग मीटर में अलग अलग तार दौड़ा दिया गया है ऐक
बिल्डिंग में 14 हितग्राहियो को आवंटन किया गया है जिसमे प्रत्येक हितग्राही को ऐक अलग तार विद्युत विभाग द्वारा पैनल तक पहुंचा कर मीटर में कनेशन किया गया, यदि किसी तार में स्पार्क होता है तो एक के कारण सभी तार आग के लपेटे में आएगी और सोने प्र
सुहागा सभी तारे मुख्य लोहे के दरवाजे से होकर गुजरती है, तो पूरे दरवाजे में करेंट फ़ैल जायेगा, यदि इस दौरान कोई भी तार या दरवाजे के संपर्क में आता है, तो वह व्यक्ति काल के गाल में समा जायेगा। हस्ताखेलता परिवार बिखर जायेगा।
*इस प्रकार की घटना का आखिर जिम्मेदार कौन : -*
निगम प्रशासन और विद्युत विभाग की लापरवाही और भ्रष्टाचार, और हितग्राहियो का शोषण के की खबरें आए दिन समाचार संस्थान में पढ़ने को मिलते है, और हितग्राही भुक्त भोगी भी हैं, विभाग अपने आदत से मजबूर होने के कारण इस गंभीर मुद्दे को भी संज्ञान में नहीं लेगा ज़ब तक कोई बड़ी घटना न घट जाए।
*विभाग को लिखित आवेदन देने के बाद भी निराकरण शून्य :-* नगर निगम प्रशासन कमिश्नर और इंजिनियर को कई बार आवेदन देकर हितग्राहियो द्वारा यह जानकारी पूर्व में दी गई थी, और पीएम आवास में वर्तमान आयुक्त शेर सिंह मीणा द्वारा खुले शब्दों में इंजिनियर सिद्धार्थ सिंह से सभी तार हटाकर सिंगल केबिल पैनल तक पहुंचवाने की बात कही और शख्त निर्देश दिए, जिसके बाद रात गई बात गई जैसी घटना हुई उधर आयुक्त निकले और इंजिनियर भूल गए।
*कमीशनखोरी के जतवे में पिस रहा हितग्राही :-* नगर निगम के भ्रस्ट इंजिनियर और एमपीईबी के अधिकारी अधिक लाभ के लालच ने मानवता को शर्मशार कर दिया, चंद रुपयों के लिए मासूमों का जिंदगी दाव में लगा दिया।
*यदि भविष्य में इस प्रकार की घटना होती हैं इसका जिम्मेदार कौन :-* पीएम आवास हितग्राहियो से चर्चा की गई जिसमे उनके द्वारा विभाग की उदासीनता की घोर निंदा की गई साथ ही जागरूक हितग्राहियो द्वारा साफ शब्दों में कहना है कि यदि इस प्रकार कि घटना होती है तो नगर निगम आयुक्त इसके प्रमुख जिम्मेदार होंगे मामला संज्ञान में होने के बाद सुधार न होने के कारण इस प्रकार कि घटना
घटी, और पीएम आवास के प्रभारी अरुण तिवारी और इंजिनियर सिद्धार्थ सिंह सहित विद्युत विभाग भी बराबर के भागीदार होंगे जिनके गैरजिम्मेदाराना हरकतो के कारण यदि भविष्य में इस प्रकार का घटना घाटेगी।